Wednesday, December 28, 2011

3 अगस्त : संसदीय प्रजातन्त्र




अस्पृश्यता निवारणके लिये एस. के. बोले का संकल्प मुंबई विधानसभा परिषद में पारित 1923


एक समाजके लिये आवश्यक  गुण भारतीय समाजमें है? भारतीय समाज व्यक्तियोंसे  नहीं बना। यह जातिओंका बेशुमार जमेला है, जो अपने निजी जीवनमें अलगाववादी है, जिनके पास बांटने के लिये समान अनुभव नहीं है और सहानुभूतिका बंधन नहीं है।

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