Saturday, December 24, 2011

२८ मार्च : जाति प्रथा




सामाजिक दमनकी तुलनामें राजकीय दमन कुछ भी नहीं है और समाजके सामने आनेवाले सुधारक सरकार और राजनीतिकोंसे कहीं अधिक हिम्मतवान है।


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